अनुपमा
दिल्ली विश्वविद्यालय के श्री गुरु नानक देव खालसा कॉलेज
में वर्षिक महोत्सव सुरलोक की शुरूआत ११ फरवरी मंगलवार को बहुत जोर-शोर से हुई. सुरलोक महोत्सव के पहले दिन श्री गुरु नानक देव खालसा कॉलेज के छात्रों में भारी उत्साह दिखा. सुरलोक की शुरूआत कॉलेज
की प्रधानाचार्य डॉ. मनमोहन कौर ने "सुरलोक" का अर्थ बताते हुए कहा
की सुरलोक का अर्थ है, किसी एक ही सुर में पूरा ब्रह्माण्ड को बांध देना. साथ ही उन्होने कॉलेज के एक छात्र ललित माथुर की तारीफ करते हुए बताया की माथुर ने 400 मीटर की रेस 47 सेकेंड में पूरा किया जो मिल्खा सिंह के समय
के अनुसार थोड़ी कम है. इस महोत्सव में कई तरह की प्रतियोगिताओं का आयोजन हुआ. जिसमें छात्रों ने बढ़-चढ़ कर
हिस्सा लिया. सेल्फी फोटो प्रतियोगिता
बहुत ही रोमांचक तथा दिलचप्स थी जिसमे अघिकतर प्रतिभागी लड़कियाँ थीं.
इस
प्रतियोगिता में प्रतिभागियों को समूह में मिल कर इस काम को अंजाम देना था. हर समूह में दो प्रतिभागी थीं, साथ ही इस प्रतियोगिता में प्रतिभागी का कैमरा कम से कम 1.2 मेगा फिक्सल से ज्यादा का होना चाहिए. जिसमें
सिर्फ मोबाइल फ़ोन के कैमरे का ही इस्तेमाल कर सकते हैं. सबसे रोमांचित कर देने वाली बात यह थी कि उन्हें कम से कम 30 परिस्थितियों में सेल्फ़ी फोटो खिचवानी थी -जैसे किसी लड़की के साथ जिनके हाथ पर टैटू बना
हो. अलग-अलग रंग की पगड़ी को कैमरे में कैद करना था. इस प्रतियोगिता की निर्णय खालसा
कॉलेज की अध्यापिका श्रीमती मनमीत कौर के द्वारा किया गया. सेल्फी फोटो प्रतियोगिता का
प्रथम स्थान माता सुंदरी कॉलेज की छात्रा ने जीता जिसे 1500 रूपए का नकद पुरस्कार और प्रमाण पत्र से नवाज गया. दूसरा स्थान कॉलेज ऑफ़ वोकशनल स्टीज की छात्रा को दिया गया जिसे 1000 रुपए का नकद पुरस्कार दिया गया. तीसरा स्थान श्री गुरु नानक देव
खालसा कॉलेज की छात्रा की दिया गया जिसे 700 रुपए पुरस्कार और प्रमाण पत्र से नवाज़ा गया ।
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